कोलकाता (मा.स.स.). प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी शनिवार को असम के बाद पश्चिम बंगाल पहुंच गए हैं। वे यहां नेताजी सुभाष चंद्र बोस की 125वीं जयंती के अवसर पर आयोजित होने वाले दो कार्यकमों में हिस्सा ले रहे हैं। वहीं इस कार्यक्रम के लिए मुख्यमंत्री ममता बनर्जी भी पहुंचीं हैं। इससे पहले ममता ने आज आठ किलोमीटर लंबी पदयात्रा की। पदयात्रा के बाद जनसभा को संबोधित करते हुए उन्होंने केंद्र सरकार पर जमकर निशाना साधा।
उन्होंने देश की चार राजधानी बनाए जाने का सुझाव देते हुए कहा कि दिल्ली के पास ही सबकुछ क्यों होना चाहिए। उन्होंने कहा कि सरकार को चुनाव में बंगाल की याद आ रही है। साथ ही उन्होंने कहा कि नेताजी इतिहास नहीं बल्कि आवेग और संस्कृति हैं। पराक्रम दिवस के कार्यक्रम समाप्त होने के बाद नेताजी सुभाष चंद्र बोस के पड़पोते सीके बोस ने कहा कि नेताजी एकता के लिए हमेशा खड़े रहते थे। उनके संगठन आजाद हिंद फौज में सभी समुदायों के लोग थे। चाहे आप ‘जय हिंद’ कहें या ‘जय श्री राम’, मुझे कोई फर्क नहीं पड़ता। ‘जय श्री राम’ एक ऐसा बयान नहीं है जिसमें किसी को प्रतिक्रिया देनी चाहिए।
मुझे लगता है कि सीएम को किसी नारे पर प्रतिकूल प्रतिक्रिया नहीं देनी चाहिए थी। चाहे वह ‘जय हिंद’ हो या ‘जय श्री राम’। यह कोई राजनीति करने का दिन नहीं है। यह जश्न मनाने का दिन है, यह भारतीय राष्ट्रीय सेना के सैनिकों और शहीदों को श्रद्धांजलि देने का दिन है।