नई दिल्ली. भाजपा के खिलाफ एकजुट हुए विपक्षी दलों के गठबंधन इंडियन नेशनल डेवलपमेंटल इन्क्लूसिव अलायंस (इंडिया) की छह दिसंबर को होने वाली बैठक टल गई है। बताया गया है कि गठबंधन की कुछ पार्टियों के प्रमुख नेताओं के बैठक में न आ पाने के चलते बैठक को फिलहाल स्थगित करने का फैसला किया गया।
कांग्रेस के सूत्रों के मुताबिक, अब छह दिसंबर को शाम छह बजे इंडिया गठबंधन में शामिल पार्टियों के सांसदों की बैठक आयोजित की जाएगी। बाद में दिसंबर के तीसरे हफ्ते में मल्लिकार्जुन खरगे के आवास पर इस गठबंधन के प्रमुख नेताओं की औपचारिक समन्वय बैठक होगी। यह बैठक ऐसे समय होने वाली थी जब मध्य प्रदेश, छत्तीसगढ़, राजस्थान और मिजोरम के हालिया विधानसभा चुनावों में कांग्रेस को हार का सामना करना पड़ा है।
गौरतलब है कि सपा नेता अखिलेश यादव और तृणमूल कांग्रेस की प्रमुख ममता बनर्जी ने पहले ही इंडिया की बैठक में जाने में असमर्थता जताई थी। इसके बाद तमिलनाडु के मुख्यमंत्री और द्रमुक के नेता एमके स्टालिन ने चक्रवात के कारण पैदा हुए हालात के चलते बैठक में शामिल नहीं हो सकते थे। बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने अस्वस्थता का हवाला दिया है। वहीं, पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी परिवार के एक कार्यक्रम में व्यस्त हैं। इसके चलते ।’’
कांग्रेस की हार को लेकर भड़के हैं इंडिया के घटक दल
इससे पहले समाजवादी पार्टी के प्रवक्ता राजेंद्र चौधरी ने कहा था कि पार्टी के मुखिया अखिलेश यादव इंडिया गठबंधन की बैठक में जाने का कोई कार्यक्रम नहीं है। इतना ही नहीं कुछ दलों ने कांग्रेस पर सवाल खड़े किए थे। नीतीश कुमार की पार्टी जनता दल यूनाइटेड (जदयू) ने चार राज्यों के नतीजे आने के बाद कहा था कि कांग्रेस ने मध्य प्रदेश, राजस्थान और छत्तीसगढ़ के विधानसभा चुनावों में इंडिया गठबंधन के साझेदारों के साथ कोई तालमेल नहीं कर अकेले चुनाव लड़कर गलती की।
वहीं, तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी) के वरिष्ठ नेता अभिषेक बनर्जी ने सोमवार को दावा किया था कि तीन राज्यों में विधानसभा चुनाव में हार का सामना करने वाली कांग्रेस आत्ममुग्धता से पीड़ित है। उन्होंने कांग्रेस को अगले साल होने वाले लोकसभा चुनाव से पहले अपनी आंतरिक कलह से निपटने की सलाह दी थी। बता दें कि इंडिया की अब तक तीन बैठक पटना, बंगलूरू और मुंबई में हो चुकी हैं। गठबंधन के घटक दलों के नेताओं की पिछले दिनों मुंबई में हुई बैठक में गठबंधन के भविष्य के कार्यक्रमों की रूपरेखा तैयार करने के लिए 14 सदस्यीय समन्वय समिति का गठन किया गया था।
साभार : अमर उजाला
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