भारतीय इतिहास में 17 फरवरी को जन्म दिन/ जयंती : बुद्धू भगत को भारतीय इतिहास में एक प्रसिद्ध क्रांतिकारी के रूप में जाना जाता है। उनकी लड़ाई अंग्रेजों, जमींदारों और साहूकारों द्वारा किए जा रहे अत्याचार और अन्याय के खिलाफ थी। उनका जन्म 17 फरवरी 1792 को झारखंड के रांची …
Read More »ऑडियो बुक : भारत 1885 से 1950 (इतिहास पर एक दृष्टि)
भारत 1885 से 1950 (इतिहास पर एक दृष्टि) की ऑडियो बुक पढ़ने के लिए क्लिक करें : भारतीय स्वतंत्रता संग्राम के एक बड़े अध्याय से लेकर संविधान निर्माण तक का इतिहास भारत : 1885 से 1950 (इतिहास पर एक दृष्टि) व/या भारत : 1857 से 1957 (इतिहास पर एक …
Read More »गो स्पिरिचुअल और एप्रोच एंटरटेनमेंट ने उत्तर भारत में बेघरों के लिए सर्दी से बचाव हेतु कंबल वितरण अभियान शुरू किया
नई दिल्ली. उत्तर भारत में कड़ाके की ठंड के बीच, गो स्पिरिचुअल, एक अग्रणी आध्यात्मिक सामाजिक उद्यम, और एप्रोच एंटरटेनमेंट, एक प्रसिद्ध सेलिब्रिटी मैनेजमेंट और फिल्म प्रोडक्शन कंपनी, ने बेघरों और जरूरतमंदों की सहायता के लिए एक व्यापक कंबल वितरण अभियान शुरू किया है। यह पहल बेघरों और सड़कों पर जीवनयापन …
Read More »भारत : 1885 से 1950 (इतिहास पर एक दृष्टि)
कांग्रेस की स्थपाना के पीछे का उद्देश्य … जरा सोचिए एक ऐसा राजनीतिक संगठन जो यह दावा करता है कि उसने स्वतंत्रता संग्राम में महत्वपूर्ण योगदान दिया है, उसके अधिवेशन की शुरुआत ब्रिटिश गुलामी के समय इंग्लैंड के राष्ट्रगान से होती थी। यही नहीं कांग्रेस का प्रारंभ में कोई अपना …
Read More »भारत : 1857 से 1957 (इतिहास पर एक दृष्टि)
कांग्रेस स्थापना और उसके प्रारंभिक कुछ वर्ष …जब 1857 का स्वतंत्रता संग्राम हुआ तो 17 जून 1857 को ह्यूम को साड़ी पहनकर इटावा से भागना पड़ा।… वो 1858 में इटावा वापस आया। उसने आते ही सबसे पहले 131 क्रांतिकारियों को फांसी देने का काम किया।…27 दिसंबर 1885 को…28 अंग्रेजों की …
Read More »समाज पानी तो फ़िल्टर कर पीता है लेकिन खून नहीं
– अतुल मालिकराम कैदियों के प्रति समाज का नज़रिया अपराधी या पीड़ित के बीच नहीं बंटा हुआ है। यह एक कटु सत्य है कि समाज के लिए एक कैदी सिर्फ अपराधी हो सकता है पीड़ित नहीं। यही सोच समाज पर भारी पड़ रही है और न केवल अपराध बल्कि अपराधियों …
Read More »जेल: एक अनकही यूनिवर्सिटी में बुलंद होते नामी क्रिमिनल्स के हौंसले
– अतुल मलिकराम जेल एक अनोखी यूनिवर्सिटी है। जेल एक कैदी को इतना सिखा देती है कि हम और आप उस बारे में सोच भी नहीं सकते। अगर यूँ कहा जाए कि जेल, जिंदगी की भूख बढ़ा देती है, तो इसमें कुछ भी गलत नहीं होगा। आप हर एक चीज़ …
Read More »शिक्षक तो पढ़ा रहे हैं, लेकिन क्या बच्चे सीख भी रहे हैं?
– अतुल मलिकराम शिक्षा का मतलब कभी-भी किसी खाली पात्र में जल भरने तक ही सीमित नहीं रहा है। महान अर्थशास्त्री तथा नोबेल पुरस्कार विजेता अमर्त्य सेन एवं अभिजीत बनर्जी भी इस बात की पुष्टि कर चुके हैं कि किसी भी अन्य की तुलना में शिक्षा एकमात्र ऐसा साधन है, …
Read More »यह इत्र सबसे महँगा
– अतुल मलिकराम फूलों का स्वभाव होता है खुद के साथ ही साथ अपने आसपास के वातावरण को भी महकाना और अपनी महक से सराबोर कर देना हर उस शख्स को, जिसने इसे छुआ है। फूलों से बने इत्र में खूबियाँ और भी बढ़ जाती हैं। बात महक की चली …
Read More »Indulge yourself in the Soulful Journey to Ayodhya with Radio City’s “City Chale Ayodhya Dham” Campaign
Mumbai, Maharashtra, India Radio City, India’s leading radio network, brings to you – “One path, countless stories, and a moment to touch your hearts!” The radio network proudly announces, ‘City Chale Ayodhya Dham’, their new 15-day campaign celebrating this creative endeavour that is poised to engage with millions of people as …
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