लखनऊ. मथुरा की श्री कृष्ण जन्मभूमि और शाही ईदगाह मस्जिद विवाद में हिंदू पक्ष की बड़ी जीत हुई है. इलाहाबाद हाईकोर्ट का फैसला हिंदू पक्ष में आया है. इलाहाबाद हाईकोर्ट ने मुस्लिम पक्ष की आपत्तियों को खारिज कर दिया. इलाहाबाद हाईकोर्ट का फैसला मंदिर मस्जिद विवाद में चल रहे मुकदमों की पोषणीयता पर आया है. ऑर्डर 7 रूल 11 के तहत मुस्लिम पक्ष द्वारा की गई आपत्तियों को इलाहाबाद हाईकोर्ट ने खारिज किया.
हाईकोर्ट ने हिंदू पक्ष की तरफ से दाखिल किए गए 15 मुकदमों में अंतरिम फैसला सुनाया. कोर्ट ने अपने फैसले में कहा हिंदू पक्ष के सभी मुकदमे सुनने लायक हैं. मुस्लिम पक्ष ने पोषणीयता को लेकर आपत्ति जताई थी. यूपी सुन्नी सेंट्रल वक्फ बोर्ड और शाही ईदगाह मस्जिद कमेटी ने प्लेसेस ऑफ़ वरशिप एक्ट, लिमिटेशन एक्ट, वक्फ एक्ट और स्पेसिफिक रिलीफ एक्ट से बाधित बताकर हिंदू पक्ष की सभी 18 याचिकाओं को खारिज किए जाने की दलील पेश की थी .
12 अगस्त को होगी अगली सुनवाई
इलाहाबाद हाईकोर्ट से आज आए फैसले का असर यह होगा कि हिंदू पक्ष की याचिकाओं पर हाईकोर्ट में सुनवाई जारी रहेगी. हाईकोर्ट ने इन मुकदमों को सुनवाई के योग्य माना है. जस्टिस मयंक कुमार जैन की सिंगल बेंच ने फैसला सुनाया. इन 15 याचिकाओं पर सुनवाई पूरी होने के बाद हाईकोर्ट ने 31 मई को अपना जजमेंट रिजर्व कर लिया था. अगली सुनवाई 12 अगस्त को होगी. इलाहाबाद हाईकोर्ट से आज आए फैसले का असर यह होगा कि हिंदू पक्ष की याचिकाओं पर हाईकोर्ट में सुनवाई जारी रहेगी.हाईकोर्ट ने इन मुकदमों को सुनवाई के योग्य माना है.
क्या बोले हिंदू पक्षकार आशुतोष पांडेय
आज 355 साल बाद सनातन धर्म, सनातन संस्कृति, हिंदू समाज और उन संतो की जीत हुई है. जिन्होंने 355 साल तक संघर्ष किया है. ये सनातन धर्म के लिए बहुत बड़ी जीत है और ये साबित हो गया कि मुस्लिम पक्ष कृष्ण जन्मभूमि के खिलाफ कोई भी साक्ष्य नहीं जुटा पाया. इसलिए माननीय न्यायालय ने उनके प्रार्थना पत्र को खारिज कर दिया. ये सनातन संस्कृति की जीत का फैसला है. ये हमारे श्री कृष्ण के माखन खाने का फैसला है. एक्ट में साफ तौर से लिखा है कि 1947 में जो जिसके पास है वो रहेगा. वहीं 1947 में श्री कृष्ण जन्म भूमि मालिक थी आज भी कृष्ण जन्म भूमि मालिक है. पापी औरंगजेब ने जो हिंदू मुसलमानों को लड़ाने के लिए जो मुहिम चलाई थी वो आज खत्म हो रही है.
साभार : एबीपी न्यूज़
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