जम्मू. जम्मू कश्मीर में दो बड़े अधिकारियों पर गाज गिरी है. बीएसएफ के डीजी (नितिन अग्रवाल) और स्पेशल डीजी (वाई बी खुरानिया) को हटा दिया गया है. जम्मू कश्मीर में आतंकियों की घुसपैठ रोकने में नाकाम रहने को लेकर भारत सरकार का यह सबसे बड़ा प्रशासनिक एक्शन है, जिसके चलते इन दोनों अधिकारियों पर गाज गिरी है. केंद्र शासिस प्रदेश में पिछले एक साल से लगातार आतंकियों की घुसपैठ हो रही.
सूत्रों के मुताबिक, पिछले एक महीने में इन दोनों अधिकारियों ने जम्मू कश्मीर अंतरराष्ट्रीय सीमा और लाइन ऑफ कंट्रोल का दौरा किया था, जो पाकिस्तान से सटी थी और कई अहम बैठकों में इन अधिकारियों ने हिस्सा लिया था. इसके अलावा पंजाब सेक्टर से लगातार हो रही आतंकी घुसपैठ को प्रभावशाली ढंग से कंट्रोल न कर पाना इस सबसे बड़े एक्शन की बड़ी वजह है. पिछले कई सालों में ऐसा पहली बार हुआ है जब दो बड़े अधिकारियों को इस तरीके से हटाया गया है, जो किसी अर्ध सैनिक बलों को लीड कर रहे थे.
नापाक हरकतों से बाज नहीं आ रहे आतंकी
केंद्र शासित प्रदेश में आतंकी अपनी नापाक हरकतों से बिल्कुल भी बाज नहीं आ रहे हैं. आतंकियों की खात्मा के लिए लगातार ऑपरेशन चलाया जा रहा है. पिछले एक साल में केंद्रशासित प्रदेश में कई बड़ी आतंकी घटनाएं हुई हैं. सुरक्षाबलों ने कई आतंकियों को मार गिराया है जबकि मुठभेड़ में कई जवान भी शहीद हुए हैं.
पिछले महीने 4 कर्मचारी हुए थे बर्खास्त
पिछले महीने देश विरोधी गतिविधियों में शामिल लोगों के खिलाफ बड़ी कार्रवाई हुई थी. देश के खिलाफ साजिश रचने और आतंकियों की मदद करने वाले चार कर्मचारियों को बर्खास्त कर दिया गया था. इनमें दो कांस्टेबल, दो ग्रामीण विकास और पंचायती राज विभाग का कर्मचारी है और एक स्कूल शिक्षा विभाग में जूनियर असिस्टेंट था. इन चारों पर आतंकवादी संगठनों से संबंध रखने का आरोप था. आतंकवाद के खिलाफ जीरो टॉलरेंस नीति के साथ ऐसे करीब 50 से ज्यादा कर्मचारियों की नौकरी खत्म कर दी गई हैं. इन सभी लोगों पर आतंकवादी संगठनों और पाकिस्तान की आईएसआई के लिए काम करने का आरोप की लगा था.
साभार : टीवी9 भारतवर्ष
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