रांची. झारखंड के हजारीबाग जिले में रामनवमी से पहले ही माहौल बिगड़ गया है. यहां मंगलवार (25 मार्च) को रामनवमी के लिए निकाले जा रहे मंगला जुलूस पर हमला हो गया. जुलूस जैसे ही शहर की जामा मस्जिद के पास पहुंचा तो उस पर पथराव हो गया. इससे जुलूस में शामिल लोग भी भड़क गए और उन्होंने पत्थरबाजी करने में कोई कसर नहीं छोड़ी. हालात इतने बिगड़ गए कि पुलिस को आंसू गोले दागने पड़े और हवाई फायरिंग करनी पड़ी. पुलिस ने जब चार राउंड हवाई फायरिंग की तब भीड़ तितर-बितर हुई. हंगामे के कारण ईद बाजार भी बंद कर दिया गया. अब इस घटना पर सियासत भी शुरू हो गई है. बीजेपी ने इसे शासन-प्रशासन की भारी लापरवाही बताया है. तो वहीं सत्ताधारी जेएमएम ने बीजेपी पर ही कई गंभीर आरोप लगाए हैं.
बीजेपी प्रवक्ता प्रदीप सिन्हा ने कहा कि गिरिडीह में जो घटना हुई थी, उसके बाद सरकार को सचेत होने की जरूरत थी. हजारीबाग में जिस तरीके से जुलूस में पथराव किया गया, वह सरकार की नाकामी का नतीजा है. उन्होंने कहा कि हजारीबाग और गिरिडीह जो संवेदनशील इलाकों में आते हैं, यहां बात-बात पर दंगे हो जाते हैं और समाज में टकराव हो जाता है. इसे संभालने की आवश्यक्ता सरकार की थी. सरकार ऐसे लापरवाह अधिकारियों पर सख्त कार्रवाई करें.
वहीं इस पर जेएमएम प्रवक्ता डॉ. तनुजा ने कहा कि मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने स्पष्ट रूप से यह निर्देश दिया है कि पर्व त्यौहार में आशांति फैलाने वाले और साजिश करने वालों को किसी भी रूप में बक्सा नहीं जाएगा और उन पर कड़ी से कड़ी कानूनी कार्रवाई की जाएगी. जो लोग अशांति फैलाने का काम करते हैं और जो लोग साजिश रच कर माहौल बिगड़ते हैं, सभी से निपटने का काम झारखंड की पुलिस करेगी. कांग्रेस नेता सतीश पॉल मुंजनी ने कहा कि बीजेपी हमेशा एक समुदाय पर आरोप लगाती रही है. लोकतंत्र में इस तरीके से बातें करना बेमानी है. उन्होंने कहा कि इस देश की खूबसूरती है कि हिंदू, मुस्लिम, सिख, इसाई सभी मिलकर एक साथ रहते हैं, लेकिन भाजपा की सत्ता आने के बाद बार-बार ऐसी घटनाएं देश भर में हो रही हैं. आखिर कौन ऐसी साजिश रचता है, जो देश की अखंडता और भाईचारे की खूबसूरती को बिगाड़ना चाहता है. यह जांच का विषय है.
साभार : जी न्यूज
भारत : 1885 से 1950 (इतिहास पर एक दृष्टि) व/या भारत : 1857 से 1957 (इतिहास पर एक दृष्टि) पुस्तक अपने घर/कार्यालय पर मंगाने के लिए आप निम्न लिंक पर क्लिक कर सकते हैं