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गोहत्या कानून की समीक्षा के मुद्दे पर भाजपा नेता गाय लेकर सड़कों पर उतरे

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बेंगलुरु. शहर में भाजपा कार्यकर्ता सड़क पर गायों के साथ उतरे। वे सिद्धारमैया सरकार के मंत्री के. वेंकटेश के बयान का विरोध कर रहे थे। वेंकटेश ने कहा था- जब भैंसों को काटा जा सकता है तो गाय को क्यों नहीं? भाजपा कार्यकर्ताओं ने राज्य की कांग्रेस सरकार को हिंदू विरोधी बताया। प्रदर्शनकारियों का कहना है कि कांग्रेस का यह बयान अपमानजनक है। मंत्री को अपने बयान पर माफी मांगनी चाहिए।

BJP कार्यकर्ताओं ने कहा कि जब कर्नाटक में हमारी सरकारी थी तो गोहत्‍या विरोधी कानून लाई थी। अब कांग्रेस उसे निरस्त करना चाहती है, तभी ऐसे बयान दे रही है। इस पर CM सिद्धारमैया ने कहा कि गोहत्या के विरोध में भाजपा की सरकार जो कानून लाई थी, उसमें स्पष्टता की कमी है। अगली कैबिनेट मीटिंग में हम कानून की समीक्षा करेंगे।

मंत्री ने गोहत्या विरोधी कानून बदलने का इशारा किया था
कर्नाटक के पशुपालन मंत्री के. वेंकटेश ने 4 जून को इशारा किया था कि हम भाजपा सरकार की तरफ से लाए गए गोहत्या विरोधी कानून की समीक्षा करेंगे। कांग्रेस इस कानून पर चर्चा करेगी और फिर फैसला लेगी। उन्होंने तर्क दिया था कि जब भैंस और भैंसा को काटा जा सकता है तो गायों का क्यों नहीं? वेंकटेश ने कहा था कि बूढ़ी गायों की देखभाल करने में किसानों की समस्या होती है। इसके मरने के बाद उन्हें दफनाने में भी भारी मशक्कत करनी पड़ती है। कांग्रेस नेता ने अपना उदाहरण देते हुए कहा कि मेरे फार्म हाउस में एक गाय की मौत हो गई। उस दफनाने के लिए जेसीबी की मदद लेनी पड़ी थी।

भाजपा 2021 में गोहत्या विरोधी कानून लाई थी
भाजपा सरकार ने 2021 में कर्नाटक पशु वध रोकथाम और संरक्षण अधिनियम को लागू किया था। इसके तहत राज्य में पशुओं की हत्या पर बैन लगा था। केवल बीमार मवेशियों और 13 साल से ज्यादा उम्र की भैंसों को काटने की परमिशन दी गई थी। इस कानून का कांग्रेस शुरुआत से ही विरोध करती आ रही है।

CM ने भाजपा पर राज्य को लूटने का लगाया आरोप
भाजपा ने गायों के साथ प्रदर्शन करते हुए कहा कि कांग्रेस ने अपनी 5 चुनावी गारंटियों को भी पूरा नहीं कर रही है। इस पर CM सिद्धारमैया ने कहा है कि BJP को कांग्रेस के चुनावी वादों का विरोध करने का कोई नैतिक अधिकार नहीं है। उन्होंने कहा कि BJP एक जनविरोधी पार्टी है। जब वे सत्ता में थे तो उन्होंने राज्य को बहुत लूटा। उन्होंने इंदिरा कैंटीन तक बंद कर दी थी, जिसे हमने शुरू किया।

साभार : दैनिक भास्कर

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