पटना. शुक्रवार को विपक्षी दलों की बड़ी बैठक होने वाली है। इसमें विपक्षी पार्टियों के नेताओं के आने का सिलसिला शुरू हो गया है। पहले दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल के आने पर संशय था, लेकिन गुरुवार शाम वे पटना पहुंच चुके हैं। उनके साथ पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान, राज्यसभा सांसद संजय सिंह और राघव चड्डा भी थे। AAP ने केंद्र सरकार के अध्यादेश के खिलाफ कांग्रेस को साथ देने के लिए कहा है। पार्टी ने कहा कि अगर कांग्रेस हमारा साथ नहीं देती है तो हम विपक्ष की मीटिंग में शामिल नहीं होंगे।
वहीं, अरविंद केजरीवाल ने नीतीश कुमार समेत सभी पार्टियों को चिट्ठी लिखकर कहा था- मीटिंग में सबसे पहले केंद्र के अध्यादेश पर चर्चा होनी चाहिए। दिल्ली का अध्यादेश एक प्रयोग है, यह सफल हुआ तो केंद्र सरकार गैर भाजपा राज्यों के लिए ऐसे ही अध्यादेश लाकर राज्य सरकारों का अधिकार छीन लेगी। PDP सुप्रीमो महबूबा मुफ्ती गुरुवार सुबह और बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी शाम 4.20 बजे पटना पहुंचीं। शिक्षा मंत्री प्रोफेसर चंद्रशेखर, मंत्री लेसी सिंह, जेडीयू के राष्ट्रीय अध्यक्ष ललन सिंह आदि नेता उनको एयरपोर्ट पर रिसीव करने पहुंचे थे। महबूबा मुफ्ती ने बोधगया में महाबोधी मंदिर में पूजा अर्चना की।
दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल और पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान भी गुरुवार शाम पटना पहुंच गए हैं। वे तख्त श्री हरिमंदिर साहिब में मत्था टेका। भाकपा माले के राष्ट्रीय महासचिव दीपांकर भट्टाचार्य और भाकपा महासचिव डी.राजा भी पटना पहुंच गए हैं। तमिलनाडु के मुख्यमंत्री एमके स्टालिन रात 8 बजे तक पटना पहुंचेंगे। ये सभी राजकीय अतिथिशाला में रुकेंगे। भाजपा के खिलाफ विपक्षी एकता की बैठक शुक्रवार को पटना में मुख्यमंत्री आवास में होगी। इसमें शामिल होने के लिए गैर भाजपा दलों के नेता आज से जुटना शुरू हो गए हैं। इसमें नीतीश कुमार के साथ एमके स्टालिन, ममता बनर्जी, अरविंद केजरीवाल समेत 6 राज्यों के मुख्यमंत्री और 5 पूर्व मुख्यमंत्री शामिल होंगे।
बैठक में न्यूनतम साझा कार्यक्रम तय हो सकता है। बातचीत का मुख्य एजेंडा यह हो सकता है कि भाजपा और उसके सहयोगियों के खिलाफ संयुक्त विपक्ष का एक ही उम्मीदवार खड़ा किया जाए। भाजपा हराओ का प्रस्ताव पारित हो सकता है। कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे, राहुल गांधी, झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन, NCP के मुखिया शरद पवार, सुप्रिया सुले और प्रफुल्ल पटेल, नेशनल कॉन्फ्रेंस के प्रधान फारूक अब्दुल्ला, शिवसेना (उद्धव बाला साहेब ठाकरे) प्रमुख उद्धव ठाकरे, उत्तर प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव, माकपा महासचिव सीताराम येचुरी आदि 23 जून को आएंगे। जदयू व राजद के नेता मेजबान की भूमिका में होंगे।
साभार : दैनिक भास्कर
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